दैनिक रेवांचल टाइम्स – डिंडोरी नगर के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र की व्यवस्थाएं एक बार फिर लड़खड़ाने लगी हैं अस्पताल में पदस्थ चिकत्सको के समय पर समय पर ओपीडी में नही आने से मरीजों को भटकना पड़ रहा है एक तरफ मौसम के लगातार परिवर्तन से आमजनजीवन पर मौसमी बीमारियों का खतरा मंडरा रहा हैं और लोग अस्वास्थ्य महसूस होने पर अस्पताल में डॉक्टरों की शरण ले रहे हैं तो दूसरी ओर डॉक्टर ही अपने कर्तव्य से नदारत मिलते हैं जिससे लोगो को परेशानियां और बढ़ जाती हैं बजाग आदिवासी बाहुल्य क्षेत्र है और शासन द्वारा मरीजों के लिए बेहतर सुविधा उपलब्ध कराने का प्रयास किया तो जाता हैं नगर के अस्पताल में दो डॉक्टर हर समय ग्रामीण मरीजों सेवा प्रदान करने के उद्देश्य से तैनात किए गए हैं और इन्हें इसके एवज में मोटी सैलरी प्रदाय को जा रही ताकि लोगो को परेशानियों का सामना नहीं करना पड़े इसके विपरीत डॉक्टर लापरवाही बरत रहे है और अपने कर्तव्यों के प्रति सजग नही है वही बजाग अस्पताल के खंड चिकित्सा अधिकारी अपनी ड्यूटी प्रशासनिक कार्यों को लेकर निभा रहे है उन्होंने अस्पताल की जिम्मेदारी दो डॉक्टरों के भरोसे इस उम्मीद सौप रखी है की उनकी व्यस्तता के समय दोनो डॉक्टर मरीजों को सेवा प्रदान करेंगे परंतु ऐसा नही सीबीएमओ के फील्ड पर जाते ही अधीनस्थ चिकित्सक अपनी मनमर्जी के मुताबिक कार्य करने लग जाते है हालाकि इस समय सीबीएमओ आगामी 26 तारीख को वनग्राम चाडा लगने वाले विशाल स्वास्थ्य शिविर की तैयारियों को लेकर व्यस्त हैं उनकी गैर मौजूदगी में अस्पताल के दोनो चिकित्सक समय पर ओपीडी नही पहुंच रहे हैं कुछ ऐसा ही मामला मंगलवार को देखने में आया की अस्पताल में मरीज परेशान होते दिखे। सुबह दस बजे से लगातार बारह बजे तक मरीज डॉक्टरों के नदारत रहने से भटकते नजर आए।एक परेशान व्यक्ति ने अस्पताल की लचर व्यवस्था को लेकर डॉक्टरों के नदारत रहने का वीडियो भी सोसल मीडिया में वायरल कर दिया। एक गर्भवती महिला भी किसी जरूरी कागज में हस्ताक्षर के लिए और इलाज के लिए घंटो परेशान होती रही।कुछ मरीज अपनी रिपोर्ट को लेकर चिकित्सक का इंतजार करते रहे। दर्जनों मरीज डॉक्टर का इंतजार करते करते थक गए।
जब बीएमओ को इस बात की जानकारी लगी उन्होंने तत्काल अस्पताल प्रबंधन से इस बात की जानकारी लेकर एक महिला डॉक्टर को मरीजों की सेवा के लिए ओपीडी में तैनात कराया। तब कही जाकर मरीजों को उपचार मिलना शुरू हुआ। अस्पताल प्रबंधन के इस तरह लापरवाही पूर्ण रवैए को लेकर जनता ने नाराजगी जताते हुए बताया की अस्पताल में पदस्थ चिकत्सक सरकारी अस्पताल में सेवा देने की बजाय प्राइवेट प्रैक्टिस में ज्यादा ध्यान दे रहे हैं कई ग्रामीणों ने बताया की ओपीडी टाइम में भी डॉक्टर सरकारी अस्पताल में अनुपस्थित रहते हैं सूत्रों की माने तो डॉक्टर अस्पताल में आने वाले मरीजों को दलालों के माध्यम से अपनी क्लीनिक में बुलाकर इलाज कर मोटी रकम वसूलते हैयही कारण बताया जा रहा है की डॉक्टर समय पर अस्पताल नही पहुंचते।हालाकि सीबीएमओ अस्पताल में डॉक्टरों की लापरबाही और लड़खड़ाती व्यवस्था को लेकर गंभीर है और जल्दी ही व्यवस्था में सुधार को लेकर ठोस कदम उठाने की बात कह रहे है
इनका कहना है में अभी चांडा में आयोजित होने वाले विशाल स्वास्थ्य शिविर की तैयारियों में व्यस्त हूं मरीजों को परेशानी न हो इसके लिए व्यवस्था करता हु
डा.दीपेंद्र धुर्वे सीबीएमओ बजाग
मै सुबह से जरूरी रिपोर्ट को लेकर दस बजे से परेशान हु बारह बज गए डॉक्टरों का पता नही है अजीत साहू स्थानीय ग्रामीण
अस्पताल में ड्यूटी के समय डॉक्टरों की गैर मौजूदगी चिंता का विषय है अस्पताल में ओपीडी में मरीजों की सेवा के लिए दो डॉक्टर पदस्थ हैं परंतु दोनो ही अस्पताल में समय देने की बजाय अपनी क्लीनिक में निजी सेवा देने व्यस्त हैं। लोकेश पटेरिया जनप्रतिनिधि